इलाहाबाद विश्वविद्यालय के 8 शिक्षक दुनिया के शीर्ष वैज्ञानिकों की सूची में हुए शामिल, जानिए इलाहाबाद विश्वविद्यालय के ये आठ शिक्षक कौन हैं



इलाहाबाद विश्वविद्यालय में अध्ययनरत छात्र/छात्राओं सहित शिक्षकों, अधिकारियों, कर्मचारियों तथा विश्वविद्यालय से जुड़े हर शख्श के लिए एक खुशी की ख़बर है। यह खुशी की ख़बर विश्वविद्यालय के लिए उस समय आयी है जब विश्वविद्यालय की रैंकिंग में गिरावट दर्ज हुई है और विश्वविद्यालय कई तरह की चुनौतियों का सामना कर रहा रहा है।


हाल ही में संयुक्त राज्य अमेरिका की एक यूनिवर्सिटी स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी ने वैज्ञानिकों की एक सूची जारी की है जिसमें इलाहाबाद विश्वविद्यालय के 8 शिक्षकों का नाम शुमार है। इस सूची को वार्षिक एलीट सूची के नाम से जाना जाता है।

आपको बताते चलें कि यह सूची विश्व के अनेकानेक विश्वविद्यालयों का सर्वे करवाने के बाद तैयार की गयी सूची है। इस सूची के केवल शीर्ष में स्थापित 2 प्रतिशत नाम ही अभी सामने आए हैं बाकी के नाम आने अभी बाकी है।



क्या है स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी का यह सर्वे -

इस सर्वे के बारे में अगर बात करें तो इसमें देखा जाता है कि दुनिया की किस यूनिवर्सिटी के विज्ञानियों की विश्व में सबसे ज्यादा चर्चा हो रही है। उनके शोध पत्रों को आधार मानकर यह आंकड़ा निकाला जाता है कि कितने शोध कार्य या संबंधित गतिविधियाँ हुई हैं साथ ही कितने शोध पत्र विज्ञानियों द्वारा प्रकाशित हुए हैं। केंद्र में यह भी रखा जाता है कि विज्ञानियों द्वारा जो भी शोध कार्य हुए हैं वे दुनिया के लिए कितने कारगर शाबित हुए हैं या विश्व को कितना लाभ हुआ है।



इविवि के इन शिक्षकों के नाम हैं सूची में शामिल -

प्रोफेसर बेचन शर्मा (बायोकेमेस्ट्री एंड माॅलीक्यूलर), प्रोफेसर शिव मोहन प्रसाद (प्लांट बायोलाॅजी एंड बाॅटनी), प्रोफेसर अभय कुमार पांडेय (बायोकेमेस्ट्री), डॉ. सुधीर कुमार सिंह (इनवाॅयरमेंटल इंजीनियरिंग), प्रोफेसर सैयद इब्राहिम रिजवी (बायोकेमेस्ट्री एंड माॅलीक्यूलर), प्रोफेसर देवेंद्र कुमार चौहान (प्लांट बायोलाॅजी एंड बाॅटनी), प्रोफेसर रवींद्र धर (एप्लाइड फिजिक्स) और प्रोफेसर एमसी चट्टोपाध्याय (जनरल केमेस्ट्री) को इस वार्षिक एलीट सूची में शामिल किया गया है।


इस सूची में इविवि के इन शिक्षकों का नाम सामने आने के बाद विश्वविद्यालय में हर्ष का माहौल है और इविवि शिक्षक संघ (आटा) के अध्यक्ष प्रोफेसर राम सेवक दुबे ने सूची में शामिल सभी शिक्षकों को बधाई देते हुए कहा है कि निश्चित ही यह गौरव का क्षण है और ऐसे ही विश्वविद्यालय के शिक्षक गुणवत्तापरक शोध करते रहेंगे तो निःसंदेह विश्वविद्यालय प्रगति के पथ पर आगे बढ़ेगा।
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